पंचकुला, 13 सितम्बर – राष्ट्रसेवा और सैन्य परंपरा का प्रतीक बने छिब्बर परिवार का नाम गर्व से लिया जाता है। इस परिवार की तीन पीढ़ियां भारतीय सेना से जुड़ी रही हैं और आज भी उनकी देशभक्ति की गाथा प्रेरणा का स्रोत बनी हुई है।
कर्नल वाई.सी. छिब्बर (सेवानिवृत्त), जो पंचकुला में निवासरत हैं, ने अपने जीवन का एक बड़ा हिस्सा भारतीय सेना को समर्पित किया। उनके स्वर्गीय पिता, मामा जी तथा चाचा जी भी सेना में सेवारत रहे। परिवार की इस गौरवशाली परंपरा को उनके पुत्र कर्नल पराग छिब्बर आज भी जीवित रखे हुए हैं। वर्तमान में वे भारतीय सेना में एक अधिकारी के रूप में सेवा कर रहे हैं।
1964 का ऐतिहासिक क्षण
कर्नल वाई.सी. छिब्बर (सेवानिवृत्त) के सैन्य जीवन से जुड़ा एक अविस्मरणीय क्षण वर्ष 1964 का है। उस समय उन्होंने तत्कालीन रक्षा मंत्री श्री वाय.बी. चव्हाण के दौरे पर गार्ड ऑफ ऑनर प्रस्तुत किया था। उस गौरवशाली क्षण का फोटोग्राफ आज भी उनके सैन्य जीवन की उज्ज्वल स्मृतियों की गवाही देता है।
समाज का सम्मान और गर्व
कर्नल वाई.सी. छिब्बर (सेवानिवृत्त) आज भी अपने योगदान और उपलब्धियों के लिए समाज में सम्मानित स्थान रखते हैं। छिब्बर परिवार की यह सैन्य परंपरा न केवल परिवार के लिए बल्कि पूरे मोहयाल समाज और क्षेत्रवासियों के लिए भी गर्व का विषय है।
समाचार : सुभाष छिब्बर प्रधान मोहयाल सभा पंचकुला एवं मैनेजिंग कमेटी सदस्य जीएमएस नई दिल्ली ।